कांग्रेस ने उतारा मुलायम के रिश्तेदार के खिलाफ अपना उम्मीदवार

सपा-बसपा गठबंधन ने कांग्रेस को किनारे कर दिया है. अब इसी गठबंधन के कारण कांग्रेस अपनी तरफ से उम्मीदवार को खड़ायेंगे. कांग्रेस ने बीजेपी को हराने के लिए बसपा के साथ गठबंधन किया था, लेकिन बसपा ने कांग्रेस का साथ छोड़कर सपा के साथ हाथ मिला लिया.

कांग्रेस ने उन अटकलों को भी ख़त्म कर दिया जिसमे सोनिया गांधी की रिटायरमेंट की बात चल रही थी। पार्टी ने गुरुवार को ऐलान किया कि सोनिया लोकसभा चुनाव 2019 में रायबरेली से चुनाव लड़ेंगी, जबकि पार्टी अध्यक्ष राहुल गांधी अमेठी से मैदान में उतरेंगे। पार्टी ने 15 लोकसभा प्रत्याशियों की पहली सूची जारी कर दी है। इसमें से 11 यूपी से है और 4 गुजरात से है।

पार्टी की केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक में यह फैसला लिया गया। कांग्रेस अपने दो प्रत्याशी सपा के खिलाफ उतारेंगे। इनमें बदायूं सीट भी शामिल है, जहां से सपा संरक्षक मुलायम सिंह यादव के भतीजे धर्मेंद्र यादव सांसद हैं। बता दें कि एक दिन पहले बुधवार को ही अखिलेश ने कहा था कि कांग्रेस पार्टी उनके गठबंधन में है और दो सीटों पर चुनाव लड़ रही है।

सपा-बसपा गठबंधन ने पहले ही यह एलान कर दिया है की वह अमेठी और रायबरेली से अपना प्रत्याशी नहीं उतारेंगे। दूसरी ओर कांग्रेस ने पांच बार के सांसद सलीम इकबाल शेरवानी को बदायूं से उतारा है। कांग्रेस के यूपी प्रत्याशियों में फरूखाबाद से सलमान खुर्शीद, धरौरा से जितिन प्रसाद, कुशीनगर से आरपीएन सिंह, उन्नाव से अन्नू टंडन, फैजाबाद से निर्मल खत्री, जालौन से बृजलाल, सहारनपुर से इमरान मसूद और अकबरपुर से राजाराम पाल शामिल हैं। वहीं, गुजरात की बात करें तो पूर्व प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष भारत सिंह सोलंकी आणंद से, राजू परमार अहमदाबाद पश्चिम से, प्रशांत पटेल वड़ोदरा से जबकि रंजीत मोहन सिंह रठवा छोटा उदयपुर सीट से कांग्रेस के टिकट पर किस्मत आजमाएंगे।

फिलहाल जिन 11 सीटों पर कांग्रेस ने प्रत्याशी उतारे हैं, उनमें से 8 पर साल 2009 के आम चुनाव में पार्टी को जीत मिली थी। वहीं, सहारनपुर पर बीएसपी जबकि जालौन और बदायूं सीट पर सपा को जीत मिली थी। वहीँ 2004 में कांग्रेस को अमेठी और रायबरेली छोड़कर बाकी सभी सीटों पर हार का सामना करना पड़ा था। वहीं, सपा को इनमें से 4 सीटों पर जीत मिली थी। दो सीटें बीएसपी के खाते में गई थी। 2014 में कांग्रेस को सिर्फ अमेठी और रायबरेली में जीत मिली थी।

कांग्रेस पार्टी ने फिलहाल बाराबंकी, कानपुर, सुलतानपुर और सीतापुर सीट से प्रत्याशियों का ऐलान अभी नहीं किया है। खबर है की इन सीटों पर पार्टी के अंदर से सिर्फ एक व्यक्ति द्वारा दावेदारी की गई है। सूत्रों के अनुसार , पार्टी की यूपी स्क्रीनिंग कमेटी ने कांग्रेस महासचिव PL पुनिया के बेटे तनुज पुनिया को बाराबंकी, पूर्व केंद्रीय मंत्री श्रीप्रकाश जायसवाल को कानपुर, राज्यसभा सांसद संजय सिंह को सुलतानपुर जबकि पूर्व बसपा सांसद कैसर जहां को सीतापुर से टिकट देने की सिफारिश की है।

कांग्रेस सूत्रों ने कहा है कि पार्टी अभी भी सपा और बसपा को मनाने में जुटी हुई है ताकि किसी तरह के त्रिकोणीय मुकाबले की गुंजाइश को खत्म किया जा सके। कहा जा रहा है कि कांग्रेस 40 सीटों पर फोकस करने की योजना बना रही है ताकि कांग्रेस व सपा-बसपा में वोटों का बंटवारा न हो। देखना यह है की क्या कांग्रेस सपा बसपा को मन सकती है या फिर दोनों के साथ कांग्रेस को लड़ना होगा। हलाकि कांग्रेस के लिए अकेले लड़ पाना थोड़ा मुश्किल नजर आ रहा है।

अब देखते है आगे जनता की क्या राये होती है जोकि चुनावों के बाद ही पता चलेगा.

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